मोदी नगर 18 जून । राष्ट्रीय मजदूर कांग्रेस इंटक के प्रदेश प्रवक्ता सुरेश शर्मा ने कहा कि देश से ठेकेदारी प्रथा समाप्त होनी चाहिए क्योंकि पूरे देश में मजदूरों की समस्या है कि सारे उधोग प्रबंधक अधिक से अधिक ठेकेदार के माध्यम से श्रमिकों को नियोजित करते हैं और जमकर श्रम करवाते है ।यदि वे यह श्रम जबरिया श्रम नहीं करते हैं, तो उन्हें नौकरी से निकाल दिया जाता है ।
इंटक के प्रदेश प्रवक्ता ने कहा कि श्रमिकों की यह लड़ाई अब नियोजक और श्रम विभाग के स्तर की नहीं रही है ।अब यह वर्गीय लड़ाई होकर राजनैतिक हो गयी है उन्होंने कहा कि अब जब पूर्ण रूप से निजीकरण हो रहा है तो श्रम कानून भी कड़े होने चाहिए परन्तु उसके स्थान पर सरकारें उन्हें कमजोर कर रही है ।सरकार का कहना है कि कानून के समक्ष सब बराबर हैं ।
अरबपति व पूंजीपति और न्यूनतम मजदूरी पाने वाला श्रमिक उनके लिए एक समान है, सीधा अर्थ यह है कि कानून सिर्फ पूंजीपतियों के लिए है । सरकार ने श्रमिकों के लिए अदालतें इतनी खोल दी है कि मुकदमों का निर्णय होने में ही वर्षों लग जायें तब न्याय हो भी जाएँ तो श्रमिकों के लिए कोई न्याय नहीं है ।
इंटक के प्रदेश प्रवक्ता सुरेश शर्मा ने कहा कि अब जरूरत है कि कानून ऐसे हों कि कोई नाजायज रूप से किसी मजदूर को नौकरी से न निकाल सके । यदि कोई विवाद हो तो एक वर्ष में अदालत से फैसला हो । जब तक मजदूर पक्षीय सरकारें देश में नहीं होगी मजदूर को ऐसे ही शोषण और अन्याय का शिकार होना पड़ेगा ।

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