Saturday, 25 June 2022

राष्ट्रीय मिडवाइफरी ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट देश के नाम समर्पित।

मील का पत्थर साबित होगा प्रदेश में एकलौता मिडवाइफरी इंस्टीट्यूट: जिलाधिकारी।

मेरठ 24 जून (CY न्यूज) लाला लाजपत राय मेडिकल कालेज में देश का दूसरा व उत्तर प्रदेश का पहला नेशनल मिडवाइफरी ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट शुक्रवार को राष्ट्र के नाम समर्पित हो गया। जिलाधिकारी दीपक मीणा, केन्द्र सरकार व राज्य सरकार के अधिकारियों ने संयुक्त रूप से नेशनल मिडवाइफरी इंस्टीट्यूट का शुभारंभ किया। इस अवसर पर जिलाधिकारी दीपक मीणा ने कहा-उत्तर प्रदेश के लिये गौरव की बात है। मेरठ में आरंभ हुआ दूसरा नेशनल मिडवाइफरी नर्सिंग इंस्टीट्यूट मील का पत्थर साबित होगा। प्रदेश के पहले देश के दूसरे नेशनल मिडवाइफरी नर्सिंग इंस्टीट्यूट का शुभारंभ करने पहुंचे जिलाधिकारी ने बारीकी से इंस्टीट्यूट का निरीक्षण किया। इस दौरान मेडिकल कालेज के प्राचार्य डा.आर.सी गुप्ता, इंस्टीट्यूट के राज्य नोडल अधिकारी डा.दिनेश राणा, डा.योगिता करवाल मिडवाइफरी नोडल अधिकारी, जी मार्टिना देवी प्राचार्य नर्सिंग कॉलेज, उप प्राचार्य मेरी वीणा ने जिलाधिकारी को इंस्टीट्यूट में बी.एस.सी नर्सिंग की छात्राओं को 18 माह दी जाने वाली ट्रेनिंग के बारे में विस्तार रूप से बताया। इस दौरान जिलाधिकारी ने वहां पर क्लास रूम, लैब, आदि का बारीकी से निरीक्षण किया। इस दौरान जिलाधिकारी ने मेडिकल कालेज के प्राचार्य से कहा-इस इंस्टीट्यूट में किसी भी प्रकार की कोई परेशानी टेर्निग लेने वाली छात्राओं को नहीं होनी चाहिए। इंस्टीट्यूट के लिये किसी प्रकार के उपकरण अन्य चीज की जरूरत पड़े तो उन्हें इसके बारे में बताएं। उप अधीक्षक स्टेट नोडल अधिकारी डा.दिनेश राणा ने बताया-प्रथम बैच में सिक्कम, उड़ीसा, आसाम व उत्तर प्रदेश की 27 बी.एस.सी नर्सिंग की चयनित छात्राए 18 माह का कोर्स करेंगी। इस मौके पर ए.डी चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण डा.संगीता गुप्ता, बिल मिलिंडा गैट्स फाउंडेशन (बी.एम.जी.एफ) से डा.विकास यादव, ई.डी डब्लू.आर.ए.आई डा.अपराजिता गोगोई, डायरेक्टर प्रोग्राम एवं प्रोग्राम ऑपरेशन जपाईगो डा.कमलेश लालचंदानी, डा.नदीम, ए.सी.एम.ओ डा.पूजा शर्मा, जिला मातृ एवं परामर्श दाता इलमा अजीम, डी.पी.एम मनीष बिसारिया आदि मौजूद रहे। प्राचार्य डा.आर.सी गुप्ता ने बताया महिला चिकित्सकों की कमी को पूरा करने और शिशु-मातृ मृत्यु दर कम करने के लिए मेडिकल में 18 माह का मिडवाइफरी ट्रेनिंग कोर्स कराया जाएगा। बी.एस.सी नर्सिंग की छात्राओं को 18 माह की ट्रेनिंग दी जाएगी। मिडवाइफरी कोर्स के लिए बी.एस.सी नर्सिंग की छात्राओं को पांच वर्ष और एम.एस.सी नर्सिंग की छात्राओं को तीन वर्ष का अनुभव जरूरी है। इसके बाद कोर्स के लिए एंट्रेंस टेस्ट देना होगा। इस कोर्स को करने के बाद ही उनकी सेवाएं ली जाएंगी। चार राज्यों से 27 छात्राओं को ट्रेनिंग के चयनित किया गया है। एन.आई.एम.टी की मेरठ कोऑर्डिनेटर डा.नमिता ने बताया मेरठ में नेशनल मिडवाइफरी ट्रेनिंग सेंटर खुलना अहम है। यह प्रशिक्षण प्राप्त करने वाली बी.एस.सी नर्सिंग की छात्रा खुद ही किसी भी गर्भवती और उसके शिशु के लिये डॉक्टर की तरह रोल अदा कर सकेंगी।

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